13 वर्षीय छात्रा ने बनाई गौमूत्र से बिजली |

गोमूत्र से बिजली बनाने का प्रोजेक्ट


राजस्थान में उदयपुर के नजदीक मावली कस्बे के गड़वाड़ा व्यास एकेडमी की 8वीं कक्षा में पढ़ने वाली 13 वर्षीय साक्षी दशोरा ने गोमूत्र से बिजली तैयार की है। इस छात्रा ने गाय के गोबर और गोमूत्र से “इम्पॉर्टेंस ऑफ काउब्रीड इन 21 सेंचुरी’ नामक प्रोजेक्ट बनाया है। मिनिस्ट्री ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी ने अपने इंस्पायर अवार्ड के तहत उसके प्रोजेक्ट को चुना है । ये प्रोजेक्ट दो माह बाद जापान में आयोजित सात दिवसीय सेमिनार में भी प्रदर्शित होगा। वहां साक्षी लेक्चर भी देगी।

भारत में गायों की तेजी से घटती संख्या और दुर्दशा देखकर साक्षी इस दिशा में प्रेरित हुई | साक्षी का कहना है कि जब गाय दूध देना बंद कर देती है तो उसे लावारिस छोड़ दिया जाता है जिससे उसकी दुर्दशा हो जाती है। किन्तु अगर गोमूत्र से बिजली बनने लगेगी तो गायों के दुधारू न रहने पर भी उनकी सार संभाल होगी।

साक्षी ने यह प्रोजेक्ट अगस्त 2014 में शुरू किया था। जिलास्तर पर सिलेक्ट होने के बाद साक्षी ने इसे राज्य स्तर पर चयनित होने के लिए भेजा। सितंबर 2014 में प्रोजेक्ट राज्य स्तर पर भी चुना गया। अक्टूबर में उसे राष्ट्रीय स्तर भी चयन कर लिया गया और अब साक्षी मई 2015 में जापान में अपना प्रोजेक्ट प्रस्तुत करेंगी। 

साक्षी के अध्यापकों ने भी उसकी भरपूर मदद की | उसके परिश्रम और अध्यापक युगल किशोर शर्मा, ललित व्यास और सुशील कुमावत के मार्गदर्शन ने इस प्रोजेक्ट को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर लाकर खड़ा कर दिया है। साक्षी का मानना है कि गोमूत्र के अंदर कई तत्वों की व्यापक जांच करना अभी शेष है | साक्षी के पिता एक पटवारी हैं और माता ग्रहिणी |


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