हिमाचल हाईकोर्ट ने केंद्र सरकार को दिया गौहत्या पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने की व्यवस्था बनाने के आदेश




हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने केंद्र सरकार को गौहत्या पर राष्ट्रीय स्तर पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने की व्यवस्था बनाने के आदेश जारी किए हैं ! यही नहीं हाईकोर्ट ने गोवध, गोवंशियों के आयात-निर्यात और गोमांस व गोमांस से बने उत्पादों को प्रतिबंधित करने वाले कानून को देश भर में प्रभावी रूप से लागू करने पर विचार करने के भी आदेश दिए हैं ! हाईकोर्ट ने इसके लिए केंद्र सरकार को तीन महीने का वक्त दिया है !

न्यायाधीश राजीव शर्मा एवं न्यायाधीश सुरेश्वर ठाकुर ने गौवंश संरक्षण एवं संवद्र्धन परिषद, हिमाचल प्रदेश की एक याचिका पर सुनवाई करते हुए ये निर्देश दिए ! कोर्ट ने कहा कि अगली सुनवाई 6 जनवरी को सम्बंधित केन्द्रीय सचिव अनुपालन शपथ पत्र पेश करें !

अदालत ने अपने आदेश में ये भी साफ़ कहा है कि भारतीय संविधान सभी धर्मों को एक समान आदर करने की गारंटी देता है ! धर्म निरपेक्षता भारतीय संविधान का मूल आधार है ! हमारे देश का संविधान इस बात की अनुमति नहीं देता है कि किसी भी व्यक्ति की धर्म से जुड़ी भावनाओं को आघात पहुंचाया जाए !

गौरतलब है कि देश के अलग-अलग राज्यों में गोहत्या को रोकने और गोमांस बेचने पर प्रतिबंध के अलग-अलग कानून हैं ! कई राज्यों में इस पर पूर्ण प्रतिबंध है तो कहीं आंशिक रोक है !

कोर्ट ने सरकार पर जताई नाराज़गी 

हाईकोर्ट ने अपने पिछले आदेशों की अनुपालना नहीं होने पर हिमाचल प्रदेश के जिम्मेवार अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई करने को भी कहा ! हाई कोर्ट ने लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंताओं को यह सुनिश्चित करने को कहा था कि कोई भी लावारिस पशु उनके अधिकार क्षेत्र में सड़कों पर नजर नहीं आना चाहिए ! कोर्ट ने पाया कि इन आदेशों की पालना नहीं हो रही है !

न्यायालय ने हिमाचल के मुख्य सचिव को भी आदेश दिए हैं कि वे जिम्मेवार अधीक्षण अभियंताओं पर कार्रवाई करें ! इसके अलावा नगर निगम शिमला के आयुक्त, नगर परिषदों के कार्यकारी अधिकारियों, नगर पंचायतों, ग्राम पंचायतों के प्रधानों के खिलाफ भी कार्रवाई के आदेश भी अमल में लाने के निर्देश जारी किए हैं ! इस मामले की अगली सुनवाई छह जनवरी 2016 को होगी !

पशुओं पर माइक्रो चिप लगाएं: कोर्ट 

अदालत ने राज्य की सभी ग्राम पंचायतों से कहा कि वे छह माह के भीतर ग्राम सचिवों के जरिए सभी तरह के पशुओं पर माइक्रो चिप चिपकाएं ! चिप में पशुओं की यूनिक आईडी भी हो ताकि उसे आसानी से पढ़ा जा सके और पशु मालिक की पहचान हो सके !

साभार पत्रिका

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