जे.एन.यू. मसले पर दिल्ली की प्रतिक्रिया

क्या यह हैरत की बात नहीं कि कल दिन भर भारत के अधिकाँश न्यूज़ चेनल केवल देश के खिलाफ नारे लगाने वालों को महिमा मंडित करने में ही व्यस्त रहे | किसी ने भी देश की, यहाँ तक कि दिल्ली की जनता की प्रतिक्रिया पर गौर करने की भी आवश्यकता महसूस नहीं की | अंधे बच्चों की राष्ट्रभक्ति हो चाहे मातृशक्ति की हुंकार, सब उनकी आँखों से ओझल रही |


नेत्रहीन बच्चों ने निकाला जुलूस 

बाबा गंगानाथ मंदिर मुनीरका गाँव से जवाहर लाल नेहरु विश्व विद्यालय के मुख्य द्वार तक नेत्रहीन बच्चों ने NATIONALIST FORUM OF DIFFERENTLY - ABLE के तत्वावधान में जुलूस निकाल कर विरोध प्रकट किया ! उन्होंने जेएनयू में 9 फरवरी, 2016 को देशविरोधी देशविरोधी ताकतों द्वारा जम्मू-कश्मीर के अलगाववादियों के समर्थन में लगाए गए भारत विरोधी नारों के विरोध में जेएनयू प्रशासन को एक ज्ञापन भी सौंपा ! ज्ञापन के माध्यम से NFDA ने जेएनयू प्रशासन से मांग रखी है कि 9 फरवरी, 2016 को विश्वविद्यालय परिसर के अन्दर देशविरोधी गतिविधियों में संलिप्त जो छात्र थे उन्हें निष्कासित किया जाये और उनको सहयोग करने वाले छात्र संगठनों एवं अन्य संगठनों पर बैन लगाया जाये ! NFDA ने जेएनयू प्रशासन से यह भी मांग रखी है कि विश्वविद्यालय के कुलपति महोदय गृह मंत्रालय को पत्र लिखकर घटना की जांच सुरक्षा एजेंसी एनआईए से कराए जाने कि मांग करें ! इस बीच वहां पर NFDA नेत्रहीन बच्चों ने नारे भी लगाए - ‘जान न्यौछावर कर देंगे, खेद है हमें गद्दारों से, जहाँ से शिक्षा ली है, वहीँ विरोध करना पड़ा”.

आशा इंडिया ट्रस्ट की बहनों ने जताया आक्रोश 


सायं 5 बजे उड़ान सामाजिक कल्याण समिति के लगभग 250 कार्यकर्ताओं और आशा इंडिया ट्रस्ट की 30 से 40 बहनों ने दामिनी चंदेला के नेतृत्व में देशविरोधी गतिविधियों एवं ताकतों के खिलाफ बहुत ही जबरदस्त आक्रोश प्रकट करते हुए राष्ट्र भक्ति से ओत-प्रोत नारे लगाये – ‘अफजल से समर्थकों को फांसी दो-फांसी दो”. नेहरु हम शर्मिंदा हैं जेएनयू अब भी गन्दा है”. 

दामिनी चंदेला ने प्रदर्शन के दौरान कहा कि कुछ लोग और कुछ देश विरोधी ताक़तें जेएनयू जैसे शिक्षण संस्थान को राष्ट्र विरोधी गदिविधियों के माध्यम से बदनाम कर बर्बाद करने की साजिश रच रहे हैं. लेकिन हम माँ भारती के किसी भी शिक्षण संस्थान को बर्बाद नहीं होने देंगे. हमारा यह प्रदर्शन जेएनयू के खिलाफ नहीं है, यह प्रदर्शन-यह गुस्सा इस परिसर के अन्दर घटित उस देश विरोधी गतिविधियों के खिलाफ है.


जेएनयू को कुछ राष्ट्र विरोधी ताक़तें बर्बाद करने का षड्यंत्र रच रही हैं


अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद् के कार्यकर्ताओं ने प्रातः 10 बजे से सायं 6 बजे तक जेएनयू के मुख्य गेट पर धरना देते हुए विश्व विद्यालय प्रशासन से मांग की कि जल्द से जल्द जाहिद, स्वेता राज (एसऍफ़आई प्रेसिडेंट, जेएनयू) और बाकी के राष्ट्रद्रोहियों को निष्काषित करें एवं उस घृणित कार्य की जांच के लिए गृह मंत्रालय को पत्र लिखे. जेएनयू तो एक बहाना है, बंगाल अगला निशाना है.’ 

जेएनयू में राष्ट्रविरोधी गतिविधियों के खिलाफ वकीलों ने किया प्रदर्शन

जे.एन.यू. में राष्ट्र विरोधी गतिविधियों के विरोध में आज साकेत कोर्ट गेट न. 3 से वकीलों द्वारा विरोध प्रदर्शन कर जुलूस निकाला गया। मालवीय नगर मेट्रो स्टेशन होते हुए वापस साकेत कोर्ट में यह विरोध प्रदर्शन सम्पन्न हुआ। नेशनलिस्ट लॉयर फोरम नई दिल्ली के तत्वावधान में लगभग तीन सौ वकीलों ने शांतिपूर्वक विरोध प्रदर्शन किया। वकीलों द्वारा साकेत कोर्ट की डिस्ट्रिक्ट जज को ज्ञापन सौंपा कि जो भी इसके अपराधी हैं इनके विरुद्ध कार्यवाही की जाए। विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व नेशनलिस्ट लॉयर फोरम के श्री नीरज सिन्हा, श्री सुभाष तंवर, श्री मनोज झा तथा श्री रोहताश कुमार ने किया।

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