कौन है सबरीमला के अय्यप्पन मंदिर में जबरन घुसी रेहाना फातिमा ?


केरल में काफी कुछ विचित्रता है | स्वामी विवेकानंद ने इसे काफी स्पष्टता से उल्लेखित किया था | 25 मार्च 2018 को टाईम्स ऑफ़ इंडिया में एक लेख प्रकाशित हुआ वह भी इसी विचित्रता को प्रदर्शित करता है | उक्त आलेख आज की चर्चित शख्सियत रेहाना फातिमा के सम्बन्ध में था | 

केरल के एक प्रोफ़ेसर ने महिलाओं के स्तनों की तुलना तरबूज से करते हुए, उन्हें न ढकने की सलाह दी | यह समाचार प्रकाशित होने के बाद रेहाना फातिमा ने सबसे पहले ओनलाईन विरोध अभियान प्रारंभ किया | उसने अपने फेसबुक एकाउंट पर तरबूज के साथ अपने स्तनों की नुमाईश की | इसे उन्होंने अपने गुस्से का इजहार बताया, किन्तु वह सचमुच गुस्सा था, या खुद का पब्लिसिटी स्टंट, यह तो वही जानें | हालांकि उसके बाद फेसबुक ने अवश्य उनका एकाउंट सस्पेंड कर दिया | 

दो बच्चों की मां, कोच्ची की 31 वर्षीय रेहाना, कहने को शासकीय सेवा में हैं, किन्तु वे मुख्यतः मॉडल और बामपंथी एक्टिविस्ट हैं | रेहाना का कहना है कि – “मुझे यह समझ में नहीं आता कि लोग एक महिला के शरीर को लेकर इतनी हायतौबा क्यों मचाते हैं, आखिर एक महिला पर शरीर ढकने का प्रतिबन्ध क्यों है ? महिला और पुरुष में इतना भेदभाव क्यों है ? 

2016 में ओणम के अवसर पर थ्रिस्सुर पुलिकाली में केवल पुरुषों द्वारा किये जाने वाले पारंपरिक टाइगर डांस में भाग लेकर भी रेहाना चर्चित हुई थीं | इतना ही नहीं तो 2014 के चर्चित “किस ऑफ़ लव” केम्पेन में भी रेहाना फातिमा ने भाग लिया था | अब रेहाना को कौन तो अय्यप्पा भक्त कहेगा, और कौन मुस्लिम मानेगा ? रेहाना केवल और केवल बामपंथी ब्रिगेड की एक किरदार है, जिसका एक ही घोषित लक्ष्य है – देश में अराजकता उत्पन्न करना | ये विशुद्ध शहरी नक्सली हैं जो सदा देश का सौहार्द्र बिगाड़ने की ताक में रहते हैं | 

यूं कहने को रेहाना का जन्म एक परम्परागत मुस्लिम परिवार में हुआ, जिसने मदरसे की इस्लामी शिक्षा भी पाई | उस समय वह हिजाब भी पहनती थी, और पांच वक्त की नमाज भी अता करती थी | किन्तु पिता के देहांत के बाद वह बदलती गई | उसके ही शब्दों में –

परिवार में केवल तीन महिलायें ही बची थीं | पडौस के लोग शराब पीकर रात के अँधेरे में हमें परेशान करते | मैंने न जाने कितनी बार इसका विरोध किया, किन्तु कहीं से कोई सपोर्ट नहीं मिला | इन अनुभवों के कारण धर्म पर से मेरा विश्वास ही उठ गया | 

वह अमूमन सोशल मीडिया पर अपने बिकनी वाले फोटो साझा करती हैं | उसका कहना है कि यह मेरा शरीर है, और यह मेरा अधिकार है कि मैं जो चाहूँ वह पहनूं या कुछ भी न पहनूं | मैंने अपनी पहली फिल्म “एका” में यही किया भी था | मुझे निर्वस्त्र रहने में या होने में कभी कोई हिचक नहीं होती और न्यूड सीन सहजता से कर लेती हूँ | बल्कि यह कहा जाए कि उसमें मुझे ज्यादा आराम मिलता है | 

पिता के देहांत के बाद रेहाना को उनके स्थान पर शासकीय सेवा में अनुकम्पा नियुक्ति मिल गई और अब वह एक कोलेज में काम करती है | आजकल रेहाना अपनी दो बेटियों और अपने फिल्म निर्माता मित्र के साथ रह रही है |

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1 टिप्पणियाँ

  1. केरल में रेहाना जैसे लोगों को तैयार किया जाता है ये केरल ही है जहां sexy Durga जैसे नामों के साथ फ़िल्म बनायी जाती हैं यकीनन षड्यंत्र तो गहरा है

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